पोर्टफोलियो में कैश बढ़ाएं निवेशक
ईटी की एक रिपोर्ट के अनुसार, जब उनसे पूछा गया कि क्या निवेशकों को अपने पोर्टफोलियो में नकदी बढ़ाने पर विचार करना चाहिए, तो उन्होंने कहा कि हां उन्हें अधिक नकदी रखना चाहिए। उन्होंने कहा, “हर जगह इतने लंबे समय से चीजें इतनी अच्छी रही हैं। इतिहास में हमेशा जब हर कोई बहुत पैसा कमा रहा होता है, तो यह चिंता का समय होता है। इसलिए, मैं चिंतित हूं।” उन्होंने कहा कि अगर उन्हें कुछ खरीदना होता, तो वे चांदी खरीदते।
वॉरेन बफेट ने जुटा ली खूब सारी नकदी
पिछले हफ्ते ही खबर आई थी कि बर्कशायर हैथवे के वॉरेन बफेट (Warren Buffett ) के पास नकदी की होल्डिंग लगभग 277 बिलियन डॉलर हो गई है, क्योंकि उन्होंने Apple में अपनी हिस्सेदारी का लगभग आधा हिस्सा बेच दिया था। नकदी हिस्सेदारी 30 जून तक बढ़कर 276.9 बिलियन डॉलर हो गई, जो तीन महीने पहले 189 बिलियन डॉलर थी। इसका मुख्य कारण यह था कि बर्कशायर ने 75.5 बिलियन डॉलर के शेयरों की शुद्ध बिक्री की। यह लगातार सातवीं तिमाही थी, जब बर्कशायर ने खरीदे गए शेयरों की तुलना में अधिक शेयर बेचे। अमेरिका में निराशाजनक जॉब डेटा और येन में तेजी के बाद अमेरिकी अर्थव्यवस्था में मंदी की आशंकाएं पैदा हुईं, जिसे लेकर पुरी दुनिया के निवेशक चिंतित हैं।
भारतीय बााजार भी नहीं रहेगा अछूता
एस क्यूब कैपिटल के सह-संस्थापक और सीआईओ हेमंत मिश्र ने कहा, “मिडिल ईस्ट में तनाव बढ़ रहा है। ईरान-इजराइल युद्ध पर आमादा हैं। इसके सभी जोखिम वाली परिसंपत्तियों पर असर पड़ेगा, जिसमें ईएम भी शामिल है, जब तक कि केंद्रीय बैंक रूट को रोकने के लिए कदम नहीं उठाते हैं। भारतीय बाजार, हालांकि फंडामेंटली मजबूत हैं, लेकिन अलग-थलग नहीं रहेंगे, क्योंकि निवेशक अपने वैश्विक नुकसान के लिए फंड जुटाने के लिए प्रोफिटबुकिंग करना चाहेंगे।”